EHSAAS MERE
Apne aas paas maahaul ko dekh kar jo dil mehsuus karta hai, jo ehsaas dil ko hota hai, bas wahi shayari ke zariye likhne ki koshish ke tahat kuchh tarahi ghazals aur kuchh gair tarahi .... blog par aayen to zaruur islaah kijiyega .... dil se shukriry. - ishhak 'ashhar'
सोमवार, 1 जनवरी 2024
गुरुवार, 30 नवंबर 2023
साल-ए-नौ (नया साल)
हरगिज़ न कोई लम्हा ग़म का तेरे पास आए,
इस साल-ए-नौ का हर दिन पल-छिन तुझे रास आए।
- इश्हाक 'अश्हर'
सोमवार, 27 नवंबर 2023
गुरुवार, 23 नवंबर 2023
APNI PASAND KE KUCHH SHE'R
माँझी तो हमें छोड़कर मझधार में गए,
साहिल पे हमें लेकर तूफ़ान आए हैं.
-इश्हाक 'अश्हर'
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मौसम का ज़हर दाग़ बने क्यों लिबास पर,
यह सोच कर न बैठ सका सब्ज़ घास पर.
- अज्ञात
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आग लेकर हाथ में पगले जलाता है किसे,
जब न ये बस्ती रहेगी तू कहाँ रह जाएगा।
- अज्ञात
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उसके करम की बात न पूछो, उसके करम का क्या कहना,
इक दरवाजा बंद करे है, सौ दरवाजे खोले है।
- अज्ञात
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कहने वाले दो मिसरों में सारा किस्सा कहते हैं,
नाच नहीं आता जिनको, वो आँगन टेढ़ा कहते हैं।
- अज्ञात
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रविवार, 19 नवंबर 2023
ढूँढिये
ढूँढिये गर तो क्या नहीं मिलता"
तुझसा, हाँ दूसरा नहीं मिलता।
हौसला भी बहुत ज़रूरी है,
पंखों से आसमाँ नहीं मिलता।
मौत आ जाए कब किसी लम्हा,
हादसों का पता नहीं मिलता।
वो ख़फ़ा है अगर बहुत मुझसे,
क्यूँ वो आख़िर ख़फ़ा नहीं मिलता।
कब तलक ढूँढियेेेेगा आख़िर यहाँ,
तुझसा, हाँ दूसरा नहीं मिलता।
हौसला भी बहुत ज़रूरी है,
पंखों से आसमाँ नहीं मिलता।
मौत आ जाए कब किसी लम्हा,
हादसों का पता नहीं मिलता।
वो ख़फ़ा है अगर बहुत मुझसे,
क्यूँ वो आख़िर ख़फ़ा नहीं मिलता।
कब तलक ढूँढियेेेेगा आख़िर यहाँ,
आदमी बावफा नहीं मिलता।
अपनी कश्ती ख़ुदा हवाले अब,
न मिले नाख़ुदा नहीं मिलता।
है कोई बात आप में 'अश्हर'
कोई तुमसे ख़फ़ा नहीं मिलता।
2122 1212 22/112
अपनी कश्ती ख़ुदा हवाले अब,
न मिले नाख़ुदा नहीं मिलता।
है कोई बात आप में 'अश्हर'
कोई तुमसे ख़फ़ा नहीं मिलता।
2122 1212 22/112
बुधवार, 27 फ़रवरी 2013
mere ehsasaat: GHAR SE DOOR
mere ehsasaat: GHAR SE DOOR: घर से दूर घर से दूर निकलके देखो, कितने तमाशे चलके देखो। दर्पण झूठ नहीं बोलेगा, ख़ुद ही ख़ुदसे मिलके देखो। वक़्...
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